दिल्ली। अमेरिका से बढ़ते आर्थिक तनाव के बीच भारत और ब्रिटेन के रिश्तों में नई गर्मजोशी देखने को मिल रही है। ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर दो दिन के भारत दौरे पर बुधवार (8 अक्टूबर) को मुंबई पहुंचे। जहां अमेरिका ने भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाकर संबंधों में खटास पैदा की है, वहीं ब्रिटेन भारत के साथ राहत और सहयोग का संदेश लेकर आया है। दोनों देशों के बीच फ्री ट्रेड एग्रीमेंट (एफटीए) पर हस्ताक्षर हो चुके हैं, जिससे भारतीय कारोबारियों को बड़ा फायदा मिलने की उम्मीद है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कीर स्टार्मर की यह मुलाकात भारत-ब्रिटेन के संबंधों को और गहराई देने की दिशा में अहम मानी जा रही है। भारत ने अगस्त 2025 में ब्रिटेन का दौरा किया था और अब ब्रिटिश प्रधानमंत्री की यह यात्रा उस साझेदारी को और आगे बढ़ाने का संकेत है।
दोनों देशों के एजेंडे में व्यापार बढ़ाने पर जोर दिया जाएगा। एफटीए के तहत भारत और ब्रिटेन ने आपसी व्यापार को 2030 तक दोगुना करने का लक्ष्य रखा है। इसका लक्ष्य 120 अरब डॉलर तक पहुंचना है, जिसमें कपड़ा, चमड़ा और कृषि उत्पाद जैसे क्षेत्र प्रमुख रहेंगे। इसके अलावा फिनटेक, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, क्वांटम कंप्यूटिंग और साइबर सुरक्षा जैसे आधुनिक क्षेत्रों में भी सहयोग बढ़ाने की तैयारी है।
ब्रिटिश प्रधानमंत्री गुरुवार (9 अक्टूबर) को मुंबई के राजभवन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करेंगे। इसके बाद वे जियो वर्ल्ड सेंटर में होने वाले सीईओ फोरम और ग्लोबल फिनटेक फेस्ट 2025 में हिस्सा लेंगे। इस यात्रा से भारत-ब्रिटेन संबंधों के नए दौर की शुरुआत मानी जा रही है, जो आर्थिक साझेदारी से आगे बढ़कर तकनीकी और रणनीतिक सहयोग तक पहुंचेगी।

