छत्तीसगढ़ के आत्मसमर्पित नक्सलियों और नक्सल पीड़ित परिवारों को मुख्यधारा से जोड़ने के लिए राज्य सरकार ने बड़ी पहल की है। जल्द ही उनके घर का सपना पूरा होने जा रहा है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की पहल पर केंद्र सरकार ने पीएम आवास के तहत 15 हजार आवासों को मंजूरी दे दी।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले आत्मसमर्पित नक्सलियों और पीड़ित परिवारों को मुख्यधारा में जोड़ने के लिए यह पहल एक बड़ा कदम है। पीएम आवास योजना के तहत 15,000 आवास केवल मकान नहीं बल्कि उनके लिए सम्मान और सुरक्षा का प्रतीक है। सरकार इस योजना को पूरी पारदर्शिता और तत्परता के साथ लागू करेगी। उन्होंने कहा, यह योजना प्रदेश के विकास और शांति स्थापना की दिशा में क्रांतिकारी कदम है। पीड़ितों को आवास मिलने से नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले परिवारों को एक सुरक्षित और सम्मानजनक जीवन प्रदान करने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी। यह योजना सामाजिक समरसता और विकास के लक्ष्यों को प्राप्त करने में सहायक होगी।
6 दिसंबर तक आवास पोर्टल में अपलोड होंगे नाम
उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने बताया, इस योजना में विशेष रूप से उन परिवारों को शामिल किया जाएगा जिनका नाम सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना 2011 और आवास प्लस 2018 की सूची में शामिल नहीं था। इन नामों को 6 दिसंबर तक आवास प्लस पोर्टल पर अपलोड करने की अनुमति केंद्र सरकार द्वारा दी गई है। शर्मा ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान से मिलकर आत्मसमर्पित नक्सलियों एवं नक्सल पीड़ित परिवारों के लिए पीएम आवास की मांग की थी।
एसपी देंगे जिपं सीईओ को सूची
इस परियोजना के तहत जिले के एसपी, जिला पंचायत के सीईओ को आत्मसमर्पित नक्सलियों और नक्सल पीड़ित परिवारों की सूची देंगे। जिला पंचायत इस सूची का सर्वेक्षण और सत्यापन करेगा। इसके बाद कलेक्टर के माध्यम से लाभार्थियों के लिए भूमि का चिन्हांकन किया जाएगा।