चक्रधर समारोह के 39वें महोत्सव में CM साय रहेंगे मौजूद, हेमा मालिनी सहित बड़े कलाकार देंगे प्रस्तुति

छत्‍तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज 7 सितंबर को रायगढ़ के रामलीला मैदान में 39वें चक्रधर समारोह-2024 का उद्घाटन करेंगे। अगले 10 दिनों तक रायगढ़ की यह सांस्कृतिक नगरी कला और संस्कृति के रंग में डूबी रहेगी। देशभर के जाने-माने कलाकार अपनी प्रस्तुतियों के लिए रायगढ़ पहुंचेंगे। आइए हम आपको इस समारोह की पूरी जानकारी देते हैं।

समारोह के पहले दिन प्रसिद्ध एक्‍ट्रेस और शास्त्रीय नृत्यांगना पद्मश्री हेमा मालिनी राधा रास बिहारी का मंचन करेंगी। समारोह की शुरुआत श्री गणेश पूजन, दीप प्रज्वलन और गणेश वंदना से होगी। इसके बाद रायगढ़ कथक घराने के वरिष्ठ कलाकार, पद्मश्री से सम्मानित रामलाल को कथक घुंघरू सम्मान से नवाजा जाएगा। इसके पश्चात भूपेंद्र बरेठ और उनकी टीम द्वारा कथक समूह नृत्य की प्रस्तुति होगी। दर्शकों को छत्तीसगढ़ की लोक विधा करमा नृत्य का भी आनंद मिलेगा, जिसकी प्रस्तुति जशपुर के मनियर भगत और उनकी टीम द्वारा दी जाएगी।

चक्रधर समारोह: स्थानीय प्रतिभाओं की कला से सजेगा मंच, खैरागढ़ के संगीत  विश्व विद्यालय का दल देगा शानदार प्रस्तुति, उत्साहित कलाकार जुटे ...

समारोह की हुई बेहतर व्यवस्था

10 दिवसीय चक्रधर समारोह में स्थानीय से लेकर राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय कलाकारों द्वारा कुल 62 कार्यक्रम प्रस्तुत किए जाएंगे। इन कार्यक्रमों में नृत्य, वादन, गायन और कवि सम्मेलन जैसी विविध विधाएं शामिल होंगी। समारोह के लिए मंच और पंडाल पूरी तरह से तैयार हैं। लगभग 29 हजार स्क्वायर फीट की बैठने की व्यवस्था की गई है, और मुख्य डोम को इस बार पहले से बड़ा और बेहतर बनाया गया है।

Raigarh Chakradhar Samaroh News: चक्रधर समारोह के मंच पर दिखा छत्तीसगढ़ी  संस्कृति की झलक - A glimpse of Chhattisgarhi culture seen on the stage of  Chakradhar ceremony

इनकी प्रस्तुतियों से सजेगा मंच

रायगढ़ में हो रहे 39वें चक्रधर समारोह में छत्तीसगढ़ सहित देश के विभिन्न राज्यों की सांस्कृतिक धरोहर की झलक देखने को मिलेगी। इस आयोजन में देशभर के प्रसिद्ध कलाकार शास्त्रीय नृत्य और लोक संगीत की बेहतरीन प्रस्तुतियां देंगे। समारोह में भरतनाट्यम, कथक, कुचिपुड़ी, मोहिनीअट्टम, मणिपुरी नृत्य के अलावा असमिया और ओडिशी जैसी नृत्य विधाओं की मनमोहक प्रस्तुतियां भी होंगी, जो दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर देंगी।

10 दिन का पूरा कार्यक्रम
  • 7 सितंबर को शाम 5:30 बजे से उद्घाटन समारोह में पद्मश्री रामलाल जी का सम्मान होगा, इसके बाद भूपेंद्र बरेठ द्वारा कथक समूह नृत्य, मनियर भगत जशपुर द्वारा कर्मा लोकनृत्य, और पद्मश्री हेमा मालिनी द्वारा भरतनाट्यम पर आधारित नृत्य-नाटिका ‘राधा रासबिहारी’ की प्रस्तुति दी जाएगी।
  •  8 सितंबर को विजय शर्मा रायगढ़ द्वारा लोक गायन, वाणी राव भोपाल द्वारा शास्त्रीय गायन, पद्मश्री रंजना गौहर दिल्ली से ओडिशी नृत्य, मंदाकिनी स्वैन दिल्ली से शास्त्रीय गायन, और सौगत गांगुली कोलकाता द्वारा सरोद वादन की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 9 सितंबर को रामप्रसाद सारथी खरसिया द्वारा शास्त्रीय गायन, जया दीवान और धरित्री सिंह चौहान द्वारा कथक, शैंकी सिंह दिल्ली द्वारा कथक, गजेन्द्र पंडा त्रिधारा भुवनेश्वर द्वारा ओडिशी नृत्य, जीतू शंकर मुंबई द्वारा फ्यूजन वादन (तबला, संतूर, सितार, वायलिन, परकशन) और चांद अफजल कादरी द्वारा कव्वाली की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 10 सितंबर को अनिता शर्मा द्वारा भजन, नीत्या खत्री बिलासपुर द्वारा कथक, तमसीर मोहम्मद रायपुर द्वारा अकार्डियन वादन, शिव प्रसार राव दिल्ली द्वारा शास्त्रीय गायन, राकेश चौरसिया मुंबई द्वारा बांसुरी वादन, बासंती वैष्णव और ज्योतिश्री बोहिदार बिलासपुर द्वारा कथक, और प्रभंजय चतुर्वेदी रायपुर द्वारा गजल गायन की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 11 सितंबर को सौम्या नामदेव रायगढ़ द्वारा कथक, विधि सेन गुप्ता द्वारा ओडिशी, दीपमाला सिंह द्वारा कथक, अनुष्का सोनी जबलपुर द्वारा सितार वादन, उपासना भास्कर द्वारा कथक समूह नृत्य, मीनाक्षी शेषाद्रि द्वारा भरतनाट्यम और राकेश शर्मा व निशा शर्मा द्वारा लोक गायन की प्रस्तुतियां दी जाएंगी।
  • 12 सितंबर को अंशुल प्रताप सिंह भोपाल द्वारा तबला वादन, दीक्षा घोष रायगढ़ द्वारा भरतनाट्यम, अन्विता विश्वकर्मा रायपुर द्वारा कथक, डॉ. आरती सिंह रायपुर द्वारा कथक, राहुल शर्मा मुंबई द्वारा संतूर, रामकुमार मिश्र दिल्ली द्वारा तबला वादन, डॉ. जी. रथीस बाबू द्वारा भरतनाट्यम और कुचिपुड़ी, तथा इंदिरा कला एवं संगीत विश्वविद्यालय के कलाकारों द्वारा छत्तीसगढ़ी लोकनृत्य की प्रस्तुतियां दी जाएंगी।
  • 13 सितंबर को हुतेन्द्र ईश्वर शर्मा रायगढ़ द्वारा छत्तीसगढ़ी समूह नृत्य-गीत, शार्वी केशरवानी सारंगढ़ द्वारा कथक, भद्रा सिन्हा और गायत्री शर्मा दिल्ली द्वारा भरतनाट्यम, लकी मोहंती कटक द्वारा ओडिशी, मृदुस्मिता दास गुवाहाटी द्वारा असमिया सत्रीया नृत्य, विद्या प्रदीप कोच्चि द्वारा मोहिनीअट्टम और पद्मश्री डॉ. भारती बंधु रायपुर द्वारा कबीर और सूफी गायन की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 14 सितंबर को अनंता पांडेय रायगढ़ द्वारा विविध कला नृत्य, शाश्वती बनर्जी रायगढ़ द्वारा कथक, कृष्णभद्रा नम्बूदरी मुंबई द्वारा भरतनाट्यम, डॉ. रघुपतरूनी श्रीकांत श्रीकाकुलम द्वारा कुचिपुड़ी, विनोद मिश्रा सतना द्वारा शास्त्रीय गायन (ख्याल और ठुमरी, ग्वालियर घराना), पौशाली चटर्जी कोलकाता द्वारा मणिपुरी और आलोक श्रीवास दिल्ली द्वारा कथक नृत्य की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 15 सितंबर को पलक देवांगन रायगढ़ द्वारा कथक, पंडित प्रदीप कुमार चौबे रायपुर द्वारा शास्त्रीय गायन (किराना घराना), भूमिसुता मिश्रा रायपुर द्वारा ओडिशी नृत्य, वेदिका शरण बिलासपुर द्वारा कथक, माया कुलश्रेष्ठ दिल्ली द्वारा कथक, पद्मश्री देवयानी दिल्ली द्वारा भरतनाट्यम और पद्मश्री अनुज शर्मा रायपुर द्वारा छत्तीसगढ़ लोक गायन की प्रस्तुतियां होंगी।
  • 16 सितंबर को शाम 5:30 बजे से मानसी दत्ता गुवाहाटी द्वारा बीहू लोकनृत्य और अनिल कुमार गढ़ेवाल बिलासपुर द्वारा गेड़ी लोकनृत्य की प्रस्तुतियां होंगी। इसी दिन कवि सम्मेलन होगा, जिसमें डॉ. कुमार विश्वास गाजियाबाद, प
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